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रामचरित मानस का पाठ जिस घर में होता है वहां नहीं आती है दरिद्रता,राम कथा के पांचवे दिन महाराज ने सुनाए कई प्रसंग

BySatyameva Jayate News

Oct 30, 2023
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जौनपुर। बीआरपी इंटर कॉलेज के मैदान में भाजपा के वरिष्ठ नेता ज्ञान प्रकाश सिंह द्वारा आयोजित की गई श्री राम कथा के पांचवे दिन शांतनु महाराज ने कई प्रसंगों को बड़े ही मार्मिक ढंग से प्रस्तुत किया। जनकपुर में जनक जी बारात की विदाई जैसे साधुओं की विदाई होती है उस ढंग से की। राजा दशरथ जाने के लिए कहते रहे लेकिन एक दिन और रूक जाईये और एक दिन और रूक जाईये कहकर एक महीने तक रोक लिए। जनकपुर से बारात लौटकर अयोध्या आई। राजा दशरथ और माता कौशिल्या अपनी बहुओं को बेटियों की तरह बर्ताव किया। शांतनु महाराज ने कहा कि समाज में सास बहु का विवाद दिन प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। सास को बहु को अपने बेटी जैसा मानना चाहिए और बहु को भी अपनी सास को अपनी मां जैसा बर्ताव करना चाहिए। इस तरह का माहौल होने पर वह घर अयोध्यामय हो जायेगा। शांतनु महाराज ने कहा कि राजा दशरथ का यह स्वभाव था कि वह बड़ी बड़ी सभाओं मंे भी आईने में अपना चेहरा देखते थे।

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