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    शिक्षा,विरासत,धरोहर एवं संस्कृति की मिसाल है शिराजे-ए-हिंद-निर्मला मौर्या

    BySatyameva Jayate News

    Mar 15, 2023
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    जौनपुर-मोहम्मद हसन पीजी कॉलेज के सौदागर हाल में आज असारे -ए- शिराजे-ए- हिंद पुस्तक का विमोचन किया गया इस कार्यक्रम की अध्यक्षता सुप्रीम कोर्ट एडवोकेट जेड के फैजान की कार्यक्रम की मुख्य अतिथि पूर्वांचल विश्वविद्यालय की कुलपति प्रोफेसर डॉ निर्मला मौर्य रहे कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि प्रोफेसर डॉ अलाउद्दीन ,इंकलाब उर्दू रिजीडेन्ट एडिटर जिलानी खान रहे

    सबसे पहले आए हुए अतिथियों का पुष्प एवं बुके देकर प्राचार्य डॉ अब्दुल कादिर खान ने स्वागत एवं अभिनंदन किया

    आए हुए अतिथियों ने सर्वप्रथम पुस्तक का विमोचन किया

    सर्वप्रथम प्राचार्य डॉ अब्दुल कादिर खान ने अपने संबोधन में कहा कि इस किताब से जौनपुर की तमाम धरोहर को बाकी रखा जा सकता है जौनपुर हमेशा में एक ऐतिहासिक दृष्टि से जाना एवं पहचाना जाता है हाजी जियाउद्दीन की इस कार्य की जितनी प्रशंसा की जाए वह कम है जिन्होंने जौनपुर के इतिहास के साथ अपनी कलम को भी जिंदा रखा आने वाली नस्लों के लिए नजीर होगा

    मुख्य अतिथि कुलपति डॉ निर्मला मौर्य ने अपने संबोधन में कहा कि जौनपुर संस्कृति विरासत तहजीब एवं शिक्षा की एक मिसाल के रूप में देश में जाना जाता है जौनपुर में बड़े से बड़े ऐतिहासिक स्थल एवं जियाउद्दीन की किताब के विमोचन से जौनपुर के धरोहर एवं विलुप्त खेलो एवं स्मारकों की पहचान जिंदा हुई है मेरे सहयोग से इस किताब का हिन्दी अनुवाद जल्द जारी किया जाएगा हिंदी अनुवाद होने के बाद इस किताब के हिंदी विमोचन पूर्वांचल विश्वविद्यालय में मेरे द्वारा किया जाएगा ताकि जौनपुर के जनता इस किताब से अपनी धरोहर एवं विरासत की पहचान को जान सकें

    इंकलाब उर्दू एडिटर वादुद साजिद ने जौनपुर के कुछ ऐतिहासिक हिस्सों पर रोशनी डाली

    विशिष्ट अतिथि रिजीडेन्ट एडिटर जिलानी खान ने अपने संबोधन में कहा जौनपुर देश में ऐतिहासिक रूप में जाना जाता हैं

    विशिष्ट अतिथि अलाउद्दीन ने जौनपुर के इतिहास के बारे में बातें साझा की

    कार्यक्रम के अध्यक्ष ने अपने संबोधन में कहा कि जौनपुर तहजीब का मरकज है जौनपुर एक समय में देश की राजधानी हुआ करता था जौनपुर की जमीन पर अनेकों शायर एवं इतिहासकारों की जिंदगी गुजरी है जो आज के समय में जानने और पहचानने की जरूरत है जिसको बाकी रखने के लिए इस किताब को हाजी जियाउद्दीन के द्वारा लिखी गई

    अंत में आए हुए सभी अतिथियों का स्मृति चिन्ह एवं बुके देकर प्राचार्य के द्वारा सम्मान किया गया

    इस मौके पर जौनपुर की बुद्धिजीवी शख्सियत एवंम इंकलाब उर्दू का परिवार एवंम, जागरण ब्यूरो चीफ आनंद चतुर्वेदी, समाजसेवी जितेंद्र यादव, न्यूज एडिटर शाह आलम,डॉ जियाउद्दीन प्रधान,डॉ विजय सिंह,डॉ पी.सी विश्वकर्मा,नोमान खान, डॉ कमरुद्दीन शेख, डॉ ममता सिंह डॉ निलेश सिंह,प्रवीण यादव,मौजूद रही कार्यक्रम का संयुक्त संचालन आरिफ सिद्दीकी एवं अहमद अब्बास खान ने किया

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